सोलर पैनल को विज्ञान का आधुनिक आविष्कार कहा जाता है, क्योंकि सोलर पैनल सौर ऊर्जा से बिजली बनाने का काम करते हैं, ऐसे उपकरणों के प्रयोग से पर्यावरण को स्वच्छ एवं सुरक्षित रखा जा सकता है, इनके प्रयोग से ग्रिड बिजली की निर्भरता को भी कम किया जा सकता है, ऐसे में बिजली का बिल भी कम प्राप्त होता है। 4KW के सोलर पैनल से कितनी बिजली बना सकते हैं, आइए जानते हैं।
4KW सोलर पैनल से बनने वाली बिजली
4 किलोवाट के सोलर पैनल से बनने वाली बिजली की गणना इस प्रकार की जाती है:-
- 4 KW को आसानी से 4000 वाट से समझा जा सकता है, वाट सोलर पैनल की शक्ति को प्रदर्शित करता है।
- 4 किलोवाट क्षमता के सोलर पैनल को यदि 1 घंटे धूप में रखा जाए तो इनके द्वारा 4 किलोवाट-घंटा बिजली का उत्पादन किया जाता है।
- यदि इस सोलर पैनल को 5 घंटे तक उचित धूप में रखा जाए तो ऐसे में इनके द्वारा 20 किलोवाट-घंटा बिजली का निर्माण किया जाता है, इसे 20 यूनिट कहा जाता है।
- सोलर पैनल द्वारा बिजली बनाने की प्रक्रिया में पावर लॉस भी होता है, जिसे मानक रूप से 20% मान लिया जाता है।
- ऐसे में 20% की हानि होने पर ये सोलर पैनल 16 यूनिट तक बिजली बनाते हैं।
सोलर पैनल को प्रभावित करने वाले कारक
- सोलर पैनल का प्रकार– अधिक तेजी से बिजली का उत्पादन करने के लिए आधुनिक मोनो या बाइफेशियल सोलर पैनल का प्रयोग किया जा सकता है।
- मौसम की स्थिति– यदि मौसम खराब हो तो पालीक्रिस्टलाइन सोलर पैनल सही से कार्य नहीं करते हैं, जबकि मोनो सोलर पैनल हर प्रकार के मौसम में बिजली का उत्पादन कर सकते हैं।
- पैनल की स्थापना– सोलर पैनल को सही से सही दिशा एवं कोण पर स्थापित करने के बाद इनसे उचित मात्रा में बिजली प्राप्त की जा सकती है। सोलर पैनल को दक्षिण दिशा में अधिक धूप मिलती है।
- सोलर पैनल का रखरखाव– सोलर पैनल पर धूल-मिट्टी या अन्य गंदगी जमा हो जाती है, ऐसे में वे सही से काम नहीं करते हैं, सोलर पैनल को मुलायम कपड़े और पानी से साफ किया जा सकता है, ऐसे में वे अपनी क्षमता के अनुसार बिजली उत्पादन करते हैं।
सोलर पैनल को सोलर एक्सपर्ट की सहायता से स्थापित करना चाहिए, उनके पास स्थापना से जुड़े सभी आवश्यक उपकरण होते हैं। सोलर पैनल को लगाने के लिए सरकारी सब्सिडी भी प्राप्त कर सकते हैं।