
भारत जैसे देश में जहां सालभर धूप की कोई कमी नहीं है, वहां 5kW सोलर सिस्टम अब घरेलू ऊर्जा समाधान के रूप में तेज़ी से लोकप्रिय हो रहा है। लेकिन उपभोक्ताओं के मन में सबसे बड़ा सवाल यही रहता है – क्या यह सिस्टम AC यानी एयर कंडीशनर चलाने के लिए पर्याप्त है? अगर हां, तो कितने AC एक साथ या दिनभर चलाए जा सकते हैं? इसका उत्तर सीधा नहीं है, क्योंकि यह कई तकनीकी और व्यावहारिक पहलुओं पर आधारित है।
देहरादून जैसे क्षेत्रों में सोलर पैनल की दैनिक उत्पादन क्षमता
उत्तर भारत के शहरों जैसे देहरादून में एक 5kW सोलर सिस्टम प्रतिदिन औसतन 20 से 25 यूनिट (kWh) बिजली उत्पन्न करता है। यह उत्पादन मौसम, पैनल की सफाई, उनकी दिशा और कोण पर निर्भर करता है। पीक सनलाइट के 5-6 घंटे वाले क्षेत्रों में यह आंकड़ा ज्यादा सटीक बैठता है। गर्मियों में उत्पादन अच्छा होता है, जबकि सर्दियों और बरसात में यह घटकर 10 से 15 यूनिट तक सिमट सकता है।
AC की बिजली खपत: जानिए कितनी यूनिट लगती है एक एसी को

जब हम यह जानना चाहते हैं कि एक AC कितनी बिजली खपत करता है, तो इसकी गणना उसकी टन क्षमता (1 Ton, 1.5 Ton, 2 Ton) और उसकी तकनीक जैसे इन्वर्टर या नॉन-इन्वर्टर पर निर्भर करती है। एक 1 टन का विंडो AC लगभग 1.0 से 1.2 kWh, जबकि 1.5 टन का स्प्लिट AC 1.5 से 2.0 kWh और 2 टन का स्प्लिट AC 2.0 से 2.5 kWh प्रति घंटे तक खपत करता है। इन्वर्टर टेक्नोलॉजी वाले AC इस खपत को स्मार्ट तरीके से कम कर सकते हैं।
दिन के समय कितने AC चला सकता है 5kW सोलर सिस्टम?
एक औसत 5kW सोलर सिस्टम जो प्रतिदिन लगभग 22.5 यूनिट बिजली उत्पन्न करता है, वह दिन के समय में एक 1.5 टन का इन्वर्टर AC को करीब 6 से 8 घंटे तक चला सकता है, बशर्ते अन्य बड़े बिजली उपकरण जैसे फ्रिज, वॉशिंग मशीन, माइक्रोवेव आदि बंद हों या न्यूनतम उपयोग में हों। इसी प्रकार, यदि दो 1 टन के विंडो AC का उपयोग किया जाए, तो उन्हें भी 5 से 6 घंटे तक चलाया जा सकता है, लेकिन यह पूरी तरह इस बात पर निर्भर करता है कि घर का अन्य लोड कितना है।
रात में AC चलाना है? तो बैटरी स्टोरेज है अनिवार्य
सोलर सिस्टम की सबसे बड़ी सीमा यही है कि यह केवल दिन में बिजली पैदा करता है। रात में यदि आपको AC चलाना है, तो आपको बैटरी स्टोरेज की आवश्यकता होगी। एक औसत AC को रातभर (8 घंटे) चलाने के लिए लगभग 8–10 यूनिट ऊर्जा चाहिए होती है। इस ऊर्जा को स्टोर करने के लिए उच्च क्षमता वाली लिथियम-आयन या ली-फॉस्फेट बैटरी की जरूरत पड़ती है, जो कि महंगी होती हैं लेकिन लंबे समय के लिए लाभकारी होती हैं।
इन्वर्टर: सोलर सिस्टम की रीढ़ की हड्डी
AC जैसे हाई पावर उपकरणों को चलाने के लिए आपका सोलर इन्वर्टर भी मजबूत और स्मार्ट होना चाहिए। उदाहरण के लिए, WAAREE का 5kW सिंगल फेज ऑन-ग्रिड इन्वर्टर, जिसकी कीमत लगभग ₹37,599 है, एक उपयुक्त विकल्प हो सकता है। यह उच्च दक्षता के साथ लोड को संभालने की क्षमता रखता है और ग्रिड से समन्वय बनाकर अतिरिक्त सुरक्षा और बैकअप भी देता है।
मौसम और परिस्थितियों से प्रभावित होता है उत्पादन
सौर पैनलों की कार्यक्षमता कई बाहरी तत्वों से प्रभावित होती है – जैसे बादल, धूल, धूप की दिशा, छाया आदि। गर्मियों में उत्पादन चरम पर रहता है, लेकिन जैसे ही मानसून आता है, यह घटकर आधा भी हो सकता है। यही कारण है कि सिर्फ सोलर पर निर्भर रहने की बजाय हाइब्रिड सोल्यूशन यानी ग्रिड प्लस बैटरी सिस्टम का विकल्प ज्यादा स्थिर और उपयोगी होता है।
ऊर्जा दक्षता से मिलती है ज्यादा आज़ादी
अगर आप वाकई में रिन्यूएबल एनर्जी-Renewable Energy पर शिफ्ट करना चाहते हैं, तो यह जरूरी है कि आप ऊर्जा दक्षता वाले उपकरणों का उपयोग करें। जैसे कि इन्वर्टर AC, LED लाइट्स, और स्मार्ट ऊर्जा नियंत्रक। इसके साथ ही टाइमर, मोशन सेंसर और रियल-टाइम एनर्जी मॉनिटरिंग डिवाइस का इस्तेमाल करके आप सोलर ऊर्जा का बेहतर उपयोग कर सकते हैं।
कितने AC चला सकता है एक 5kW सोलर सिस्टम?

सभी पहलुओं को ध्यान में रखते हुए यह कहा जा सकता है कि एक 5kW सोलर सिस्टम दिन के समय में एक 1.5 टन का इन्वर्टर AC या दो 1 टन के विंडो AC चला सकता है, वह भी तब जब घर के अन्य उपकरणों का उपयोग सीमित हो। रात के समय AC चलाने के लिए उच्च क्षमता वाली बैटरी स्टोरेज की आवश्यकता होगी। मौसम, तकनीक और उपयोग की आदतें इस गणना को काफी प्रभावित करती हैं। इसलिए एक स्मार्ट और संतुलित योजना बनाकर ही इस सिस्टम से अधिकतम लाभ उठाया जा सकता है।